- क्योंकि तुम्हें धीरज धरना अवश्य है, ताकि परमेश्वर की इच्छा को पूरी करके तुम प्रतिज्ञा का फल पाओ।
संबंधित विषय
प्यार
प्रेम धीरजवन्त है, और...
धर्म
जो धर्म और कृपा...
सुंदर
इसलिये आओ, हम अनुग्रह...
दूसरा आ रहा है
इसलिये तुम भी तैयार...
क्रोध
क्रोध तो करो, पर...
हर्ष
सदा आनन्दित रहो। निरन्तर...